नारी के सोलह श्रृंगार कौन से हैं
स्नातानासाग्रजाग्रन्मणिरसितपटा सूत्रिणी बद्धवेणिः
सोत्त सा चर्चितांगी कुसुमितचिकुरा स्त्रग्विणी पद्महस्ता।
ताभ्बूलास्योरुबिन्दुस्तबकितचिबुका कज्जलाक्षी सुचित्रा।
राधालक्चोज्वलांघ्रिः स्फुरति तिलकिनी षोडशाकल्पिनीयम्।।



अमृतम पत्रिका,ग्वालियर सितंबर २०१९ अंक ११, नारी जातक कामसूत्र विशेषांक के अनुसार स्नान, नासा मुक्ता, असित पट, कटि सूत्र (करधनी), वेणीविन्यास, कर्णावतंस, अंगों का चर्चित करना, पुष्पमाल, हस्तकमल, केश में फूल खोंसना, पान (तांबूल), चिबुक का कस्तुरी से चित्रण, काजल, शरीर पर पत्रावली, मकरीभंग आदि का चित्रण, अलक्तक और तिलक ये सब नारी के १६ श्रृंगार हैं!
अर्थात् (१) स्नान, (२) नासा मुक्ता, (३) असित पट, (४) कटि सूत्र (करधनी), (५) वेणीविन्यास, (६) कर्णावतंस, (७) अंगों का चर्चित करना, (८) पुष्पमाल, (९) हाथ में कमल, (१०) केश में फूल खोंसना, (११) तांबूल, (१२) चिबुक का कस्तुरी से चित्रण, (१३) काजल, (१४) शरीर पर पत्रावली, मकरीभंग आदि का चित्रण, (१५) अलक्तक और (१६) तिलक।
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